Spreadtalks Webteam: नई दिल्ली: Oyo New Rule, ओयो होटल, होम स्टे और गेस्ट हाउस को लेकर सरकार की ओर से जल्द ही नए नियम बनाए जाएंगे। आइए नीचे खबर में विस्तार से जानते हैं
प्रदेश में अवैध रूप से चल रहे गेस्ट हाउस, होम स्टे, ओयो होटल आदि की गतिविधियों को पुलिस राडार पर लेगी। गृह विभाग इन सभी को एक निश्चित कानूनी प्रक्रिया के दायरे में लाने के लिए नियमावली तैयार कर रहा है।
इसके तहत सभी को रजिस्ट्रेशन कराना अनिवार्य होगा। साथ ही मेहमानों के ब्यौरे से लेकर सुरक्षा तक के मानक तय किए जाएंगे, जिनका पालन करना होगा. पुलिस इन प्रतिष्ठानों को चलाने वालों की जवाबदेही भी तय कर सकेगी।
शहरों और कस्बों में व्यावसायिक गतिविधियां बढ़ने से गेस्ट हाउस और होटलों की मांग बढ़ी है। होटल, गेस्ट हाउस या होम स्टे से जुड़े व्यवसायिक प्रतिष्ठानों के संचालन के लिए सराय अधिनियम के तहत उनका पंजीयन अनिवार्य है।
हालांकि, जांच में तथ्य सामने आए हैं कि होटल, होम स्टे या ओयो रूम्स जैसी चेन हर शहर में बड़े पैमाने पर ऑनलाइन बिजनेस चेन और सर्विस प्रोवाइडर्स के जरिए बिना उचित रजिस्ट्रेशन के खुल रही हैं। इनमें से कई रिहायशी इलाकों में चल रहे हैं, जहां व्यावसायिक गतिविधियों की इजाजत नहीं है।
…इसलिए निगरानी जरूरी है
एक अधिकारी का कहना है कि ये संस्थाएं सराय एक्ट के मौजूदा प्रावधानों की खामियों का फायदा उठाकर अपना गुजारा करती हैं। कई बार पंजीयन नहीं होने के कारण दर्ज नहीं होते हैं। इससे जवाबदेही तय करने में भी समस्या आती है। यहां ठहरने वाले व्यक्तियों या अतिथियों का परिचय पत्र नहीं लेने, सीसीटीवी न होने जैसी अनियमितताएं भी सामने आती हैं।
इससे घटना की स्थिति में दोषियों की पहचान करना मुश्किल हो जाता है। कई बार औचक छापेमारी में देह व्यापार या अपराधियों की गिरफ्तारी के मामले सामने आ चुके हैं. फायर सेफ्टी जैसे मानक भी पूरे नहीं होते। बदलते चलन को देखते हुए इनके नियमन के लिए कदम उठाना जरूरी है।
इसलिए गृह विभाग यूपी होटल एवं अन्य पूरक आवास (नियंत्रण) नियमावली तैयार कर रहा है। पिछले महीने सीएम योगी के सामने इसके प्रस्तावित स्वरूप का प्रेजेंटेशन भी किया गया था. सूत्रों के मुताबिक इस पर सैद्धांतिक सहमति बन गई है, जल्द ही ड्राफ्ट को अंतिम रूप दिया जाएगा।
ऑनलाइन पोर्टल बनेगा, लाइसेंस लेना होगा
सूत्रों के मुताबिक गृह विभाग की ओर से तैयार किए जा रहे नियमों के मुताबिक स्टे रूम या होटलों के रजिस्ट्रेशन के लिए पोर्टल शुरू करने का प्रस्ताव है. यहां सभी संस्थाओं का रजिस्ट्रेशन अनिवार्य होगा। लाइसेंस देने की प्रक्रिया भी तय की जाएगी, जिसमें संचालकों की जवाबदेही तय करने की शर्तें भी तय की जाएंगी।
अपंजीकृत या अवैध गतिविधियों में शामिल संस्थाओं की तलाशी, सीलिंग या कुर्की जैसे प्रावधान भी नियमों में शामिल किए जा सकते हैं। घटना होने पर संस्थाओं के संचालकों की आपराधिक जवाबदेही तय करने का प्रावधान किया जाएगा।
पंजीयन के साथ ही संस्थाओं को अतिथियों के आने-जाने एवं पहचान से संबंधित नियमों का पालन करना होगा। काम करने वाले कर्मचारियों की पृष्ठभूमि की जांच और उनकी जानकारी भी पुलिस को देनी होगी। संस्थानों में सीसीटीवी लगाने, अग्नि सुरक्षा मानकों को पूरा करने जैसी शर्तें भी लाइसेंस का हिस्सा होंगी।